गुरु गोविंद सिंह जी के प्रेरणा दायक संदेश जो सबके लिए अनुकरणीय है
गुरु गोविंद सिंह के विचार: प्रेरणा का स्रोत , जो सबके लिए अनुकरणीय हैं।
गुरु गोविंद सिंह जी, दसवें सिख गुरु, ने हमें अनेक अनमोल विचार दिए हैं जो आज भी प्रासंगिक हैं। उनके विचारों में धर्म, न्याय, साहस और मानवीय मूल्यों का संदेश निहित है। आइए कुछ प्रमुख विचारों पर नज़र डालें:
धर्म और सहिष्णुता
* सभी धर्मों का सम्मान: गुरु जी ने सभी धर्मों का सम्मान करना सिखाया। उन्होंने सहिष्णुता और भाईचारे का संदेश दिया।
* कर्म ही धर्म: उन्होंने कर्म को ही सबसे बड़ा धर्म बताया। अच्छे कर्मों से ही ईश्वर की प्राप्ति होती है।
* न्याय का मार्ग: उन्होंने न्याय और सच्चाई के लिए संघर्ष करना सिखाया।
साहस और त्याग
* साहस और बलिदान: गुरु जी ने साहस और बलिदान का प्रतीक माना जाता है। उन्होंने अपने जीवन में कई कठिनाइयों का सामना किया लेकिन कभी हार नहीं मानी।
* स्वयं पर विश्वास: उन्होंने स्वयं पर विश्वास करने और अपने लक्ष्य के प्रति दृढ़ रहने का संदेश दिया।
मानवीय मूल्य
* सर्विस: उन्होंने सेवा को सबसे बड़ा धर्म बताया। उन्होंने कहा कि मनुष्य को दूसरों की सेवा करनी चाहिए।
* समानता: उन्होंने सभी मनुष्यों की समानता पर बल दिया। जाति, धर्म या लिंग के आधार पर किसी के साथ भेदभाव नहीं करना चाहिए।
युवाओं के लिए संदेश
* शिक्षा का महत्व: गुरु जी ने शिक्षा को बहुत महत्व दिया। उन्होंने युवाओं को पढ़ने और ज्ञान अर्जित करने के लिए प्रेरित किया।
* देशभक्ति: उन्होंने देशभक्ति की भावना जगाई और युवाओं को देश सेवा के लिए प्रेरित किया।
कुछ प्रसिद्ध उद्धरण
* "सब से बड़ा गुण है दया, सब से बड़ा दोष है अहंकार।"
* "सच्चा मित्र वही है जो संकट के समय साथ दे।"
* "अच्छे कर्मों से ही आप ईश्वर को पा सकते हैं।"
गुरु गोविंद सिंह जी के विचार आज भी प्रासंगिक हैं। उनके विचारों को अपने जीवन में उतारकर हम एक बेहतर समाज का निर्माण कर सकते हैं।
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